कहानी एक अच्छी /kahani ek achhi

  कहानी एक अच्छी  पाठ- 2 एक रोहित नाम के लड़के की कहानी है, जिसे एक बुक अपने घर के स्टोर रूम से मिलता,जिसे उसके दादा जी ने जंगल में एक पैड के नीचे से उठता है, और मरने से पहले उसे स्टोर रूम मैं छुपा देता है, ताकि उसे कोई न छुए रोहित की मम्मी जब स्टोर रूम मैं कुछ पुराने पुस्तको को रख देती है, तब उस पुराने बुक  मैं से कहानियों की पुस्तक उठाने के लिए रोहित जाता है, जहा।  पर रोहित को एक ऐसे बुक मिलता है, जिसे कोई भी इंसान खोलता है,तो भविष्य में जा कर वापस आजाता है।रोहित उस पुस्तक को खोल के देखता है, जहा लिखा रहता है, भविष्य में जाने के लिए  आपका welcome है, और रोहित भविष्य मैं चला जाता है, जहा रोहित को दिखता है, की वो जिस सायकल से स्कूल जाने वाला था उस सायकल को उसके स्कूल में उसी के दोस्त हवा निकाल देते है, और भाग जाते है। तब रोहित अपने सायकल को देख कर बहुत परेशान हो जाता । वो सोचता है, अब कैसा करूँगा बहुत दूर है घर पैदल ही घर जाना पड़ेगा। फिर भविष्य से वापस आ जाता है। और देखता है, की वो स्टोर  रूम मैं खड़ा है, तुरन्त किताब को बंद कर देता है । और कहानी पुस्तक उठाकर...

तीन अद्धभुत लड़कियों की कहानी जिनके पास दिव्य शक्ति है। पाठ -3



तीन अद्धभुत लड़कियों की कहानी जिनके  पास दिव्य शक्ति है। पाठ -3



तीनो बेहेन का नाम सब से बड़ी बेहेन का नाम जोति, मंजली बेहेन का नाम उजाला और सबसे छोटी बेहेन का नाम दिव्या 13 साल के उम्र मैं उनके अन्दर की
शक्ति की जाग्रित हो जाता है। पहली लड़की जिसके आँखे बंद करते ही दूसरे जगह की घटना की जान करी मिलजाति।


है, दूसरे लड़की जब अपने हाथों से किसी भी चीज की ओर उंगली करती है। वो समान उड़ कर हाथ में आजाता है
तीसरी लड़की जिनके अन्दर आँख बंद करने
 से दूसरे जगह की जानकारी मिल जाती है। हाथों के एक इसारे से दूर रखी  वस्तु पास आजाती है। किसी भी बीमार इंसान को छूकर ठीक कर देती है।


 एक दीन एकW गाँव के मंदिर मैं चोरी होता है। और चोरी का इंजाम ।।  एक आदमी के ऊपर आता है। जो बिचारा गरीब  मंदिर मैं सोता है जिसका घर दवार नही होता है। उस बिचारे के ऊपर चोरी का इंजाम आजाता है। जब कि वो बिचारा दूसरे गाँव शादी मैं खाना खाने गया था। और वही पंडाल मैं सो गया था । इधर सब को पंडित चिल्लाते हुए। कहता है।मंदिर में चोरी हो गया है। और चोर वो भिखारी है। मैंने देखा और उसे पकड़ ने की कोशिस किया पर नही पकड़ पाया वो भाग गया। केहता है। तभी पण्डित जी की बात सुन कर


गाँव के लोग उसे ढूंड कर गाँव लाते है। मारने लगते है तभी दिव्या वहा से गुजर रही थी। तब देखती है। और उसी समय अपने दोनों आंखों को बंद करती है। तब सारी सच्चाई उसके सामने आता है। और उसी समय बीच मैं जा कर रोकती है। और कहती है।इसे छोड़ो असली चोर वो पंडित है। मैंने देखा उसे चोरी करते हुए। ये गरीब इंसान को फसाया जा रहा है। तभी घबराते हुए पंडित ने कहा क्या कहा तुमने मुझे मैं पंडित हूँ।इस मंदिर का,  क्या सबूत है। कि मैं चोरी किया हमारे इस मंदिर का तो चलो मैं आपको दिखता हूँ। कहा छुपाए है। घर के अंदर 2 मटके के अंदर छुपाया रहता है। देखो गाँव वाले









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